सृष्टि के साथ जुड़ाव का विज्ञान है योग : श्री श्री रविशंकर

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योग एक ऐसी तकनीक है, जो हमारे शरीर, मन और आत्मा को एक करती है। यह हमारे अंदर से तनाव और कुंठा को दूर करती है। जब हम सामान्य श्वास की तकनीकों, ध्यान, प्राणायाम और कसरतों को करते हैं, तो यह सब हमारे शरीर व मन को अंदर से खुश और अच्छा रहने के लिए प्रेरित करती हैं।

यदि आप प्रसन्न हैं, आप कभी हिंसक नहीं हो सकते। योग अपने शाब्दिक अर्थ के अनुसार सब को जोड़ता है, वह छोटे मन को बड़े मन से जोड़ता है। जब शरीर और मन एक साथ नहीं हों, तो वह योग नहीं है। योग में हम इनके मध्य सद्भाव लाते है।

यदि आप एक बच्चे को देखेंगे,तो पाएंगे कि जिस प्रकार बच्चे श्वास लेते हैं, वह वयस्क लोगों से अलग होता है। यह श्वास ही है, जो शरीर और भावनाओं के मध्य सेतु का कार्य करती है। यदि हम श्वास पर ध्यान दें, तो अपनी भावनाओं को भी नियंत्रित कर सकते हैं और नकारात्मकता से दूर रह सकते हैं। एक योगी होने की निशानी है कि हम फिर से बच्चा बन जाएं।

एक योगी की यह भी पहचान होती है कि वह अनंत से जुड़ा होता है और सभी लोगों से भी जुड़ा होता है। एक योगी वह है, जो निपुण और पर्याप्त लोचदार हो। कुछ लोगों के पास बहुत ही लोचदार शरीर होता है, परंतु मन बहुत ही जड़ होता है। एक जड़ व्यक्ति कभी भी रोचक या रसदार नहीं होता है। योगी वही है, जो एक ओर तो जड़ नहीं होता है, दूसरी ओर निरर्थक भी नहीं होता। उसके अंदर एक मासूमियत भरी ज्ञान की पूंजी होती है। वह बच्चों की तरह होता है, लेकिन बच्चा नहीं होता है। सहजता के साथ उसके पास तीव्र बुद्धि होती है। योगी समझदार व संवेदनशील दोनों होते हैं। कई बार लोग समझते हैं कि वे समझदार है, परंतु वे संवेदनशील नहीं होते हैं। और जो संवेदनशील हैं, समझदार नहीं होते हैं। इन दोनों का मिश्रण ही सर्वश्रेष्ठ व्यक्ति का निर्माण करता है।

एक योगी का मन समता में रहता है। आप एक योगी में सारी चारित्रिक विशेषता पा सकते हैं, क्योंकि वह स्वयं के साथ संपूर्ण सृष्टि और सभी से जुड़ा रहता है। सिर्फ प्रयास और नियमित अभ्यास किसी को भी योगी बना सकते हैं। यदि आप दुखी हैं, तो योग आपको दुख से बाहर लाता है।  यह उस कौशल को भी पकड़ने में मदद करता है, जो आपके पास नहीं है। यह आपकी प्रतिक्रिया ही है, जो आपको खुशी या दुख दे सकती है। यदि आप अपने कार्यों में कुशल हैं, तब आपके कार्य आपको खुशी ही देंगे। बस जरूरत है एक कदम योग की ओर बढ़ाने की।

Source : Agency
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